जीवन में पिता सबसे अद्भुत होता है
Father is the most wonderful thing in life
Sadhak Prabhat Kumar
॥ ॐ ॥
जीवन में पिता सबसे अद्भुत होता है
Father is the most wonderful thing in life
जीवन में पिता सबसे अद्भुत होता है। आप इसका सही मोल उन्हें खोने के बाद समझते हैं। और खोने के बाद आप उन्हें पुनः कभी नहीं पा सकते। अतः पिता के मामले में अपने अनुभव के प्रयोग का न सोचें बल्कि हमेशा संत वचन पर चलें कि पिता हीं तुम्हारे प्रत्यक्ष भगवान हैं। वही तुम्हें ईश्वर का पहला साक्षात्कार करता है। अपने स्वयं के माध्यम से। अगर चेतन होगे तो पहचान लोगे। बाकि अचेतन तो तुम बने हीं हो, अणु आत्मा के रूप। अगर पिता को पहचान लिया तो तुम में तुम्हारे विभु आत्मा को पहचानने की चेतना आ रही है। यह अगर पूर्ण विकसित हो गई तो ईश्वर से स्वयं का प्रत्यक्ष साक्षात्कार कर लोगे। गुरु तुम्हें इसी सत्य का साक्षात्कार कराता है और ईश्वर प्राप्ति का माध्यम बनता है। परंतु यह गुरु आध्यात्मिक होगा, चमत्कारी नहीं। चमत्कारी इसलिए खुद चमत्कारी होने का दावा करता है चूंकि वह स्वयं ईश्वर को नहीं जानता। अन्यथा कभी चमत्कारी नहीं होता। जो आध्यात्मिक गुरु है, सरल है, वह दूजा पिता होता है।